Overview
Curriculum
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सहज
- अनुदेशक : एक अनुदेशक के कार्य और जिम्मेदारियां
- भूमिका : अनुदेशक का कार्य एक उद्यम परख है
- अनुदेश के संरचना का मॉडल और सिद्धांत : डेविड आसुबेल का अंतर्भाव का सिद्धांत (सबसम्प्शन थ्योरी)
- मारकेल का अनुदेशनात्मक मॉडल
- उन्मुखीकरण
- सीखने के इन्डेक्स के आधार पर स्वयं सीखने के कौशल का विकास
- प्रशिक्षणार्थियों के विषेशताओं की विवेचना
- विद्यार्थियों की मूलभूत विशेषताएँ
- कौशल विकास पर राष्ट्रीय नीति
- शिक्षण और शिक्षक या प्रशिक्षक
- अनुदेश और शिक्षण में अन्तर
- शिक्षण और प्रशिक्षण
- व्यवसायिक शिक्षा और व्यवसायिक प्रशिक्षण में अन्तर
- अनुदेश के सिद्धान्त
- अनुदेश की सामान्य कमियाँ
- अच्छे अनुदेश की विशेषताएँ
- किस प्रकार अनुदेशक पूर्वापेक्षा (प्रीरिक्जिट) का विकास करें
- एक अनुदेशक की पूर्वपेक्षाएँ (प्रीरिक्वीजीट)
- एक अच्छे अनुदेशक की गुणवत्ता, अपेक्षित गुण (भाव-भंगिमा)
- अनुदेशनात्मक और अन्य पठन सहायक सामग्री को तैयार करना
- मूल्यांकन और श्रेणीबद्ध करना
- अनुदेशक के व्यक्तित्व के अच्छे लक्षण
- प्रभावशाली व्यक्तित्व की महत्वपूर्ण विशेषताएँ (गुणवत्ता)
- मानसिक विशेषताएँ
- कौशल विकास में सहायक कारक
- व्यक्तिगत गुणवत्ता या विशेषता का मूल्यांकन
- स्वयं अवलोकन (जाँच) सूची
- अभिलेख का अनुरक्षण
- एक अच्छे अनुदेशक के शिक्षण की विशेषताएँ
- कौशल विकास और उद्यमिता मन्त्रालय
- राष्ट्रीय कौशल विकास निगम (एन०एस०डी०सी०)
- उद्योगों के साथ भागीदारी
- सेक्टर स्किल कौंसिल
- आई०टी०आई० (सरकारी और निजी) दोनों में एन०एस०क्यू०एफ० का क्रियान्वयन
- राज्य निदेशालय का दायित्व
- केन्द्रीय फण्ड प्रदान संस्थान (सी०एफ०आई०) की जिम्मेदारी
- डी०जी०टी० (प्रशिक्षण महानिदेशालय)
- प्रशिक्षण महानिदेशालय का विकास
- निम्मी (राष्ट्रीय अनुदेशनात्क माध्यम संस्थान)
- डी०जी०टी० द्वारा संचालित अन्य योजनाएँ